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वॉशिंगटन । हाल ही में एक स्टेडियम के आकार का उल्कापिंड धरती के करीब से गुजरा है। यदि यह टकरा जाता तो महाप्रलय निश्चित ही था। इसे नासा के शक्तिशाली रडार सिस्टम ने देखा है जिसकी तस्वीरें जारी की गई हैं। यह एस्टेरॉयड 2008 ओएस7 है जो दो फरवरी को 29 लाख किमी की सुरक्षित दूरी से पृथ्वी के पास से गुजरा। यह पृथ्वी और चंद्रमा की दूरी से लगभग 7.5 गुना ज्यादा है। इस विशालकाय अंतरिक्ष चट्टान से हमारे ग्रह को नुकसान पहुंचने का कोई खतरा नहीं था। नासा की जेट प्रोपल्शन लेबोरेटरी के वैज्ञानिकों ने एस्टेरॉयड की तस्वीरों की एक शृंखला बनाने के लिए गोल्डस्टोन सोलर सिस्टम रडार का इस्तेमाल किया। इस नए अवलोकन ने उल्कापिंड के आकार को समझने में मदद की।
इस महीने करीब आने से पहले यह काफी दूर था, जिस कारण ज्यादातर ग्रहीय राडार प्रणालियों के लिए इसकी तस्वीर बनाना बेहद मुश्किल था। बताया जाता है कि उल्कापिंड 2008 ओएस7 हर 2.6 साल में सूर्य की एक परिक्रमा पूरी करता है। यह सूर्य के सबसे निकट शुक्र की कक्षा के भीतर से गुजरता है और सबसे दूर मंगल की कक्षा से बाहर निकलता है। जेपीएल ने नए अवलोकनों के बाद एक बयान में कहा कि 2008 ओएस7 को इसके आकार और पृथ्वी के करीब से गुजरने के कारण संभावित रूप से खतरनाक की श्रेणी में रखा गया है। लेकिन अब यह अगले 200 साल तक हमारे ग्रह के इतने करीब नहीं आएगा। पृथ्वी के करीब की वस्तुओं की नियमित खोज के दौरान 2008 में इसे देखा गया था। तब वैज्ञानिकों का अनुमान था कि यह उल्कापिंड लगभग 200 से 500 मीटर चौड़ा होगा। हालांकि नए अवलोकन में इसकी सटीक जानकारी सामने आ गई है।
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